जगतगुरु रामानुजाचार्य पदवी से विभूषित किए गए जयकांताचार्य डॉ.जय गणेश मंगल पांडेय के गांव में चहुंओर खुशी

जगतगुरु रामानुजाचार्य पदवी से विभूषित किए गए जयकांताचार्य डॉ.जय गणेश मंगल पांडेय के गांव में चहुंओर खुशी
दुबहर, बलिया. भारत के मनीषी संत त्रिदंडी स्वामी जी महाराज के कृपापात्र शिष्य कोसलेश सदन पीठाधीश्वर जगद्गुरु वासुदेवाचार्य विद्या भास्कर स्वामीजी महाराज ने त्रिदंडी देवधाम नगवा पर एक सप्ताह तक चले श्रीमद् भागवत कथा ज्ञान यज्ञ की पूर्णाहुति के अवसर पर क्षेत्र के नगवा निवासी डॉ जय गणेश चौबे को श्रीमद् जगद्गुरु रामानुजाचार्य की पदवी से विभूषित किया.
इस उपाधि के बाद डॉक्टर जय गणेश चौबे को जगतगुरु रामानुजाचार्य डा. जयकांताचार्य स्वामीजी महाराज के नाम से जाना जाएगा. इसको लेकर शहीद मंगल पांडे के गांव नगवा में खुशी का माहौल है. जयकांताचार्य डॉ. जय गणेश को बधाई देने वालों का तांता लगा हुआ है.

शनिवार को अपने आवास पर जगदगुरु की पदवी से अलंकृत होने के बाद पत्रकारो को बताया कि गुरु, ग्रंथ और गोविंद से दूरी के कारण ही समाज में विकृतियां उत्पन्न हुई हैं. समाज के लोगों को गुरु, ग्रंथ और गोविंद के नजदीक आना होगा तभी मानव जाति का कल्याण होगा.

उन्होंने कहा कि राजनीति में धर्म आ जाए तो राजनीति का बिगड़ा स्वरूप अच्छा हो जाता है, लेकिन अगर धर्म में राजनीति आ जाए तो धर्म का मूल स्वरुप बिगड़ने लगता है. उन्होंने सभी सनातनियों को धर्म के पथ पर चलते रहने की सलाह दी.
जगतगुरु रामानुजाचार्य डॉक्टर जयकांताचार्य स्वामी जी महाराज ने पूर्व में अश्वघोष विरचित महाकाव्यों की ऐतिहासिक एवं सांस्कृतिक समीक्षा पर टाउन महाविद्यालय बलिया से संस्कृत के विभागाध्यक्ष रहे डॉ. सुदुम्नाचार्य के निर्देशन में शोध किया.

जगदगुरु डॉ. जयकांताचार्य स्वामी जी महाराज ने कहा कि सनातन धर्म की रक्षा करना हमारा परम कर्तव्य है. संस्कार, संस्कृति व सभ्यता की रक्षा करना जगदगुरु का धर्म है. उन्होंने कहा कि जगदगुरु का दायित्व मिलने पर सनातन धर्म के उत्थान के लिए प्रत्येक क्षण चिंतन व मनन करता रहूंगा.

जगदगुरु डॉ. जयकांताचार्य जी ने कहा कि सनातन धर्म की कहीं भी ग्लानि या हानि होती है तो मै किसी के बुलाने का इंतजार नहीं करुंगा. उस स्थान पर पहुंचकर सनातन धर्म की रक्षा के लिए लोगों के अंदर जो भी भ्रांतियां होंगी उसको दूर करके सनातन धर्म को स्थापित करने में अपने दायित्वों का निर्वहन करुंगा. उन्होंने अपने गुरु ‘विद्या भास्कर” स्वामी जी महाराज के प्रति कृतज्ञता व्यक्त करते हुए कहा कि मुझे जो भी दायित्व मिला है, अपने दायित्वों का मै निष्ठा व लगन पूर्वक निर्वहन करता रहूंगा.
इस मौके पर पूर्व जिला पंचायत सदस्य चंद्र प्रकाश पाठक, तारकेश्वर पाठक, गिरधर पाठक , हरेराम पाठक, रामजी पाठक, जगेश्वर मितवा, हरिशंकर पाठक अनिल पाठक, केदारनाथ, दिनेश, बबुआ पाठक, घुरा गोंड आदि लोग रहे.
बलिया से केके पाठक की रिपोर्ट

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