शहीद स्मारक सुखपुरा में दी गई अमर शहीदों को श्रद्धांजलि

This item is sponsored by Maa Gayatri Enterprises, Bairia : 99350 81969, 9918514777

यहां विज्ञापन देने के लिए फॉर्म भर कर SUBMIT करें. हम आप से संपर्क कर लेंगे.

सुखपुरा, बलिया. बड़ी-बड़ी कुर्बानियों के बाद मिली आजादी को अक्षुण्ण बनाए रखने और राष्ट्र के नवनिर्माण की बड़ी जिम्मेदारी आज के युवाओं की है. युवा आगे बढ़े और बिना किसी भेदभाव के दलगत राजनीति से ऊपर उठकर राष्ट्र के नवनिर्माण का संकल्प लें, मां भारती की यही पुकार है.यह बातें वयोवृद्ध स्वतंत्रता संग्राम सेनानी पंडित राम विचार पांडे ने कही.


सोमवार को शहीद दिवस के प्रथम सत्र में शहीद स्मारक पर ध्वजारोहण करने के बाद उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए सेनानी पंडित राम विचार पांडे ने कहा कि किसी भी राष्ट्र, समाज व परिवार की पहचान उनके पुरखों से होती है. गुलामी में जकड़ी भारत माता जब आजादी के लिए कराह रही थी तो यही हमारे पुरखे बिना किसी भेदभाव के अपने खून से राष्ट्र को आजाद कराए. उन्हीं की शहादत को हम आज याद कर रहे हैं .उनकी कुर्बानी हमें युगों युगों तक प्रेरणा देती रहेगी.

इस मौके पर द्विजेंद्र मिश्रा ने कहा कि आज का यह दिन भारत के इतिहास में स्वर्ण अक्षरों में लिखा गया है. इसे बराबर याद रखने की जरूरत है. बच्चों को यह शहीद स्मारक देश के लिए कुछ कर गुजरने की बराबर प्रेरणा देता रहेगा. इसके पूर्व सेनानी रामविचार पांडेय ने वंदे मातरम और भारत माता की जय के गगनभेदी नारे के बीच शहीद स्मारक पर ध्वज फहराया.


शहीद स्मारक समिति के बैनर तले आयोजित शहीद दिवस के द्वितीय सत्र में निर्माणाधीन शहीद स्मारक पुस्तकालय वाचनालय परिसर में आयोजित श्रद्धांजलि सभा में शहीदों की स्मृतियों को नमन किया गया.साथ ही एकजुट होकर शहीदों की याद में बनने वाले पुस्तकालय वचनालय के निर्माण में आने वाले हर प्रकार की बाधाओं को दूर कर निर्माण कार्य पूर्ण कराने का संकल्प लिया गया .
वयोवृद्ध चिकित्सक दीनानाथ ओझा की अध्यक्षता में आयोजित श्रद्धांजलि सभा को संबोधित करते हुए पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष श्याम बहादुर सिंह ने कहा कि शहीदों की कुर्बानियों को व्यर्थ न होने दे, भारत के नव निर्माण का संकल्प लें, यही उनके प्रति सच्ची श्रद्धांजलि होगी

.
शहीद स्व. गौरी शंकर के परिवार के मानिक चंद वर्मा ने कहा कि शहीदों की शहादत को हम कभी भूल नहीं सकते. उनकी कुर्बानियां युगो युगो तक आने वाली पीढ़ियों को प्रेरणा देती रहेगी .श्रद्धांजलि अर्पित करने वालों में श्रीराम सिंह, हरिशंकर सिंह, विनय सिंह, बसंत सिंह, अख्तर अली, प्रमोद सिंह, रमाशंकर सिंह आजाद, अप्पू सिंह, उमेश सिंह, अनिल सिंह, तुफानी सिंह, रमाशंकर यादव, प्रविण सिंह, अभय सिंह, कामरेड विप्लव सिंह, राजू वारसी, दिनेश चन्द सिंह, जनार्दन उपाध्याय, राजेश्वर सिंह, अतुल लाल श्रीवास्तव, उषा सिंह , हरेंद्र सिंह, गिरिजा शंकर सिंह, अभिमन्यु चौहान, राहुल सिंह टिंकू, अमीत सिंह, समरेंद्र सिंह ,रोहित कुमार सिंह आदि लोग शामिल रहे. संचालन शहीद स्मारक समिति के सचिव हरेराम सिंह ने किया.थाने के तरफ से उपनिरीक्षक अखिलेश पाण्डेय ने शहीद स्मारक पर पहुंच कर सलामी दिया.राजारामचन्द्र शिक्षण संस्थान की बच्चियां भी पहुंच कर कार्यक्रम में शामिल हुईं.

शहीद दिवस की पूर्व संध्या पर निकाला कैंडल मार्च , दी श्रद्धांजलि

 
सुखपुरा. सन् 1942 की क्रांति में शहीद अमर सपूतों को शहीद दिवस के पूर्व संध्या पर गांव के नौजवानों का एक दल समरेंद्र सिंह के नेतृत्व में सैकड़ों की संख्या में शहीद स्मारक से कैंडल मार्च निकालकर सुखपुरा चट्टी होते हुए गांव में अलख जगाते हुए पुनः शहीद स्मारक पर आकर समाप्त हुआ. अमर शहीदों की गाथाओं को याद करते हुए शहीद स्मारक पर श्रद्धांजलि दी गई. शहीद स्मारक को दीपों से जगमगा दिये . कैंडल मार्च में अंकित तिवारी ,शुभम पांडे ,गणेश ठाकुर ,आदित्य, मिकी सिंह ,संजय पांडे, लकी सिंह, रोहित सिंह, अन्वेष सिंह, सिद्धार्थ सिंह ,विवेक सहित दर्जनों लोग शामिल रहे .


(सुखपुरा से कृष्णकांत पाठक की रिपोर्ट)