दुबेछपरा रिंग बंधा पर मडराया खतरा, 50 मी. दूरी तक दो तिहाई गंगा में विलीन

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बैरिया/रामगढ़ (बलिया)। दुबेछपरा रिंग बंधा पर दोपहर से गंगा के पानी का दबाव बढ़ गया है. गोपालपुर गांव के ठीक सामने लगभग पचास मीटर लम्बाई में बंधे का आधे से अधिक चौड़ाई गंगा में विलीन हो चुका है.

जबकि आगे भी कटने का क्रम रफ्ता रफ्ता जारी है. मौके पर जिलाधिकारी भवानी सिंह खंगारौत, पुलिस अधीक्षक श्रीपर्णा गांगुली, एसडीएम बच्चा लाल दुबे, क्षेत्राधिकारी उमेश कुमार व काफी संख्या मे पुलिस के जवान तथा एनडीआरएफ की टीम पहुंच गई है. बंधे को बचाने का कार्य युद्ध स्तर पर चल रहा है. ईंट व कंकरीट बोरे मे भर कर जाल डाल कर फेंका जा रहा है. जो समस्या के सामने ऊंट के मुंह मे जीरा समान है. जिलाधिकारी के निर्देश पर बंधे के सामने के गोपालपुर, दुबेछपरा व उदईछपरा में हाई एलर्ट जारी कर दिया गया है. इन गावों के लोगों को सामान सहित सुरक्षित स्थान पर जाने का ध्वनिविस्तारक यन्त्र द्वारा निर्देश क्षेत्राधिकारी उमेश कुमार ने दिया. गांवों के लोगों में अफरा तफरी मची हुई है. अपना सामान लेकर लोग सुरक्षित स्थानों की ओर जा रहे है.

29.12 करोड़ की लागत से बन रहा है रिंग बंधा
दुबेछपरा रिंग बन्धे का निर्माण बाढ़ व सिंचाई विभाग द्वारा 29.12 करोड़ की लागत से हो रहा है. यद्यपि कि निर्माण कार्य पूरा नहीं हुआ है. लेकिन जिस जगह पर बंधा कटा है वहां का कार्य पूरा है.

इन गांवों पर मडरा रहा खतरा
यद्यपि कि बंधा को बचाने का प्रयास जारी है. लेकिन बंधा कटने का क्रम भी जारी है. अगर बंधा कटता है तो गोपालपुर, उदईछपरा, दुबेछपरा के साथ ही पीजी कालेज, इण्टरमीडिएट कालेज, बालिका इण्टरमीडिएट कालेज दुबेछरा तथा पोस्ट आफिस, बैंक, स्वास्थ्य केन्द्र लगभग 15 हजार आबादी खतरे के जद मे होगे. इतना ही नहीं एनएच व आसपास के दर्जनों गांव भी प्रभावित होंगे.

http://https://youtu.be/svmmCjczp6s

ग्रामीणों ने बंधा निर्माण मे सरकारी व राजनैतिक निगरानी में लूट खसोट के लगाए आरोप

http://https://youtu.be/8Z9H_JAG_TE

ग्राम प्रधान गोपालपुर मनोज यादव, पंकज तिवारी, संजय यादव आदि ने बंधे के निर्माण में हाई प्रोफाइल लूट खसोट का आरोप लगाया. उनका कहना था कि बंधा निर्माण मे बलुई मिट्टी का प्रयोग किया गया है. पास ही की मिट्टी जेसीबी से खोदवा कर बंधे में लगाया गया. जो पानी के दबाव को झेल नही सकता. बोल्डर को लगाने से पहले न तो बेस तैयार किया गया और न ही उसकी मखाई की गई. हम लोग यहाँ अधिकारी, नेता जो भी आए सबसे शिकायत की. लेकिन किसी ने न सुना और न ही सुधार करवाया. यहां पर बड़े पैमाने पर धांधली की गई है. यह बंधा बरसात के पानी के बहाव से काफी दूरी तक जगह जगह खधढ़ गया है. नेता, मंत्री अधिकारी सब तो इसी रास्ते निरीक्षण करने आते थे. संजय यादव व ग्रामीणों का आरोप था कि विधायकजी तो यहीं दुबेछपरा इण्टरमीडिएट कालेज में आए थे. हम लोग वहां जाकर सूचना दिए. लेकिन वह यहां तत्काल आना उचित नहीं समझे. ग्रामीणों ने किसी की न सुनने और मनमानी करने के आरोप लगाए.

http://https://youtu.be/XUWzUYECsjI

पहले भी टूट चुका है यह बंधा
इसके पूर्व 27 अगस्त 2016 को भी यह बंधा टूट चुका है. काफी नुकसान हुआ था. लेकिन न तो जनप्रतिनिधियों ने उसे गम्भीरता से लिया और न ही सरकारी अधिकारियों ने. यहां झोपड़ी डाल कर ठीके में लूट खसोट जारी रहा. यहां के ग्रामीण भ्रष्टाचार पर आवाज उठाते रहे और उनकी आवाज दबाई जाती रही.

बुजुर्गों ने कहा खतरा टला नही, अगल बगल से भी टूट सकता है बंधा

गोपालपुर, दुबेछपरा, उदईछपरा के बुजुर्गों की माने तो रफ्ता रफ्ता जारी बंधे का कटान ऐन कटान स्थल को छोड़ पचीस पचास मीटर दक्षिण कभी दूसरी जगह कटान शुरू हो सकता है. लोगों के अनुभव को सच माने तो गंगा मे कटान स्थल के अगल बगल नदी में उठते झाग यह संकेत दे रहे है कि यहां कुछ देर मे कटान रुकेगा और अगल बगल में तेजी से कटान शुरू हो जाएगा.