छठ पर गाजीपुर के घाटों पर दिखा ऐसा नजारा

बाराचंवर, ताजपुर, गोसलपुर, दुबिंहा, उतरांव पतार, राजापुर, लट्ठूडीह, देवरिया, मसौनी, गोंडऊर, पातेपुर, पैकवली जोगा, कामेश्वर धाम कारो, करीमुद्दीनपुर समेत सभी गांवों में रविवार को विधिवत पोखरों, तालाबों एवं नदी के किनारे बने छठ घाटों पर छठ मैया का विधि विधान से पूजन किया गया.

11000 अखंड दीप जलाए गए मां के दरबार में

सोमवार को लगभग ग्यारह हजार की संख्या में अखंड दीपक जलाये गए. देश के कोने कोने से लोग आकर मां का दर्शन पूजन करते है, वर्ष भर मां के धाम में शादी, मुंडन, कीर्तन एवं रामायण का आयोजन होता रहता है. मां के दर्शन मात्र से ही मानव का कल्याण हो जाता है, रामनवमी के दिन मा के धाम पर विराट मेले का आयोजन किया जाता है

मां कष्टहरणी के भक्त लक्ष्मण ने की थी लखनेश्वरडीह की स्थापना

मां कष्टहरणी का दर्शन करने के पश्चात बक्सर जाते समय लक्ष्मण ने बाराचवर ब्लाक के उत्तर दिशा में रसड़ा के लखनेश्वरडीह नामक स्थान पर लखनेश्वर महादेव की स्थापना की थी, जो आज भी लखनेश्वर नाथ के नाम से जाना जाता है.

पर्यटन मंत्रालय की टीम पहुंची बलिया

भारत सरकार के पर्यटन मंत्रालय की दो सदस्यीय सर्वे टीम बृहस्पतिवार को बलिया पहुंची. टीम ने सांसद भरत सिंह के साथ बलिया की पौराणिक स्थलों का निरीक्षण किया.