गुरु के शरणागत होने में ही भक्तों का कल्याण निहित है – स्वामी ईश्वरदास

सिकंदरपुर (बलिया)। गुरु की महिमा अपरंपार है. उसके शरणागत होने में ही भक्तों का कल्याण निहित है. यह विचार है श्री वनखंडी नाथ मठ डुहा बिहरा सेवा समिति के अध्यक्ष स्वामी ईश्वरदास ब्रह्मचारी का. वह क्षेत्र के अद्वैत शिव शक्ति परम धाम में आयोजित गुरु पूजा महोत्सव एं अद्वैत शिव शक्ति यज्ञ के शुभारंभ के अवसर पर भक्तों के बीच प्रवचन कर रहे थे.

महोत्सव का शुभारंभ कलश यात्रा निकालने के साथ हुआ. परमधाम परिसर से निकली कलश यात्रा विभिन्न गांव के भ्रमण करते श्री बनखंडी नाथ मठ परिसर में पहुंचा. भ्रमण के दौरान यात्रा में शामिल श्रद्धालु नर-नारियां तरह तरह के धार्मिक नारे लगाते चल रहे थे. कुछ देर विश्राम के बाद सभी श्रद्धालु अपने साथ लाए कलश में घाघरा नदी का जल भर कर पुनः पूर्व स्थान पर आए जहां ब्राम्हणों की टोली द्वारा वैदिक रीती से पूजन के बाद सभी का कलश यज्ञ स्थल पर स्थापित कराया गया. इस मौके पर रितेश राजभर, विनोद यादव, सत्यनारायण यादव, अमित सिंह, मृत्युंजय वर्मा, रविंदर वर्मा आदि विशिष्ट लोग मौजूद रहे.

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