सपा-कांग्रेस गठबंधन की गांठ से टूट गई आस                

इलाहाबाद शहर उत्तरी से सपा बाहर तो मेजा से कांग्रेस के पूर्व घोषित उम्मीदवार को झटका

इलाहाबाद से आलोक श्रीवास्तव 

सपा और कांग्रेस में गठबंधन से दोनों ही दलों के पूर्व घोषित प्रत्याशियों को तगड़ा झटका लगा है. मेजा विधानसभा क्षेत्र से तो कांग्रेस से टिकट न मिलने से खफा एक कांग्रेस पदाधिकारी ने निर्दलीय चुनाव लड़ने की भी घोषणा कर दी है. वहीं सपा से टिकट न मिलने से एक पदाधिकारी की नाराजगी पार्टी को मुश्किल में डाल सकती है.

शहर उत्तरी से कांग्रेस के अनुग्रह नारायण सिंह वर्तमान में विधायक हैं.  वह पिछले दो टर्म से विधायक हैं. वह इलाहाबाद विश्वविद्यालय के छात्रसंघ अध्यक्ष भी रह चुके हैं. मिलनसार स्वभाव और हर किसी के गाढ़े वक्त में काम आने वाले अनुग्रह को सभी पसन्द करते हैं. इसलिए यह सीट तो कांग्रेस के ही खाते में जायेगी. मुलायम-शिवपाल गुट ने ललन राय को यहां से उम्मीदवार बनाया था, बाद में अखिलेश ने संदीप यादव को प्रत्याशी बनाया,  लेकिन गठबंधन से दोनों का पत्ता कटना तय है.

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उधर मेजा से कांग्रेस युवा प्रदेश अध्यक्ष सर्वेश कुमार तिवारी उर्फ़ बाबा तिवारी मैदान में उतरना चाहते थे, पर सीट सपा के खाते में जाने से उन्हें करारा झटका लगा है. इससे नाराज तिवारी ने स्वतन्त्र प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ने का ऐलान कर दिया है. इसके अलावा पहले सपा से गामा पांडेय को टिकट मिलना तय था, वह लगातार जनसम्पर्क में जुटे थे, लेकिन घोषित सूची से उनका नाम नदारद था. उनकी जगह पर बसपा से आये रामसेवक पटेल को टिकट दे दिया गया था. इस उलटफेर से दोनों ही दलों को भितरघात का सामना करना पड़ सकता है.

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