बलिया. देश और प्रदेश के सभी संस्थाओं से लोकतांत्रिक प्रणाली को खत्म करने की भाजपा की मानसिकता के कारण ही छात्रसंघों के चुनाव को बाधित कराया जा रहा है. उत्तर प्रदेश की भाजपा सरकार राजनीति की नर्सरी और लोकतांत्रिक ढांचे का प्रतीक छात्रसंघों को खत्म कर राजनीति में धनपशुओं, गुण्डे, माफियाओं का बर्चश्व कायम कराना चाहती है. जनपद में छात्रसंघ चुनाव को नामांकन के ऐनवक्त स्थगित करने पर उक्त प्रतिक्रिया टी. डी. कालेज छात्रसंघ के पूर्व अध्यक्ष एवं समाजवादी पार्टी के जिला प्रवक्ता सुशील पाण्डेय”कान्हजी”व्यक्त किया.
कहा कि भाजपा के सहयोगी संगठन प्रदेश में छात्रसंघ चुनावों में हिस्सेदारी करती आई है. इस बार उसे उम्मीदवार तक नही मिल पाए. यही देख भाजपा सरकार आगामी 2022 विधानसभा चुनाव की भी दुर्गति भाप गई और चुनाव पूर्व अपना भद्द नही पिटवाना चाहती.
कान्हजी ने कहा कि छात्रसंघ का चुनाव लड़ने वाले छात्रों ने अथक परिश्रम कर नामांकन की तैयारी किया था और जुलूस लेकर जब कालेज पहुचे तो चुनाव ही स्थगित हो गया. जो निन्दनीय है. भाजपा का वश चले तो ये लोग विधानसभा और लोकसभा का भी चुनाव न कराए.