सिकंदरपुर, बलिया. स्वास्थ्य विभाग की बदहाली किसी से छिपी नहीं है। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों की दुर्व्यवस्था, दलाल राज और डॉक्टरों की मनमानी की बातें आये दिन सामने आती हैं।
ऐसा ही एक मामला शनिवार को दोपहर बाद सामने आया। बच्ची को जन्म देने वाली प्रसूता की मौत पर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र सिकन्दरपुर पहुंचे स्वजनों ने जमकर हंगामा काटा। परिजनों ने पैसे की खातिर महिला चिकित्सक डॉ भारती सिंह पर अपने आवास पर प्रसव कराने व उसमें अनियमितता बरतने का आरोप लगाया। हॉस्पिटल पर हो रहे हंगामा की सूचना पर पहुंचे चौकी इंचार्ज ज्ञानचन्द्र ने परिजनों से बात कर मामले की जानकारी ली। उधर मौके की नजाकत समझ महिला चिकित्सक हॉस्पिटल से फरार हो गई।
क्या है मामला
नगरा थाना क्षेत्र के गाहाडीह निवासी पंकज यादव की बहन रम्भा यादव को बीते 24 नवम्बर की शाम को प्रसव पीड़ा होने पर परिजन उसे सीएचसी सिकन्दरपुर ले आये। जहां ओपीडी में दिखाने के उपरांत मौके पर तैनात महिला चिकित्सक डॉ भारती सिंह ने इलाज शुरू कर दिया। इस बीच परिजनों को बेहतर इलाज का झांसा देकर डॉक्टर ने रम्भा को अपने निजी आवास पर भेज दिया। जहां शाम को रम्भा ने एक बच्ची को जन्म दिया, पर प्रसवोपरांत रम्भा की स्थिति बिगड़ने लगी। यह देख परिजन डॉक्टर से समुचित इलाज का गुहार लगाने लगे लेकिन स्थिति भांप कर महिला चिकित्सक ने प्रसूता को घर भेज दिया। जहां पहुंचने के बाद रात करीब 10 बजे उसकी स्थिति और नाजुक हो गई। परिजनों का आरोप है कि उस दरम्यान भारती सिंह को फोन करने पर वो बात करने की बजाय डांट कर फोन स्वीच ऑफ कर दीं। अभी परिजन जिला अस्पताल ले जाने की तैयारी ही कर रहे थे कि रम्भा ने दम तोड़ दिया। शुक्रवार को दाह संस्कार करने के बाद शनिवार को परिजन सीएचसी पहुंचे और उक्त महिला चिकित्सक से बात करनी चाही लेकिन एक बार फिर वो परिजनों को चकमा देखर भाग निकली।
इस सम्बंध में हॉस्पिटल अधीक्षक डॉ व्यास कुमार ने बताया कि हॉस्पिटल परिसर में कोई प्रसव नही कराया गया है। उनके निजी आवास के मामले से हमें कोई लेना देना नही है।
(सिकंदरपुर संवाददाता संतोष शर्मा की रिपोर्ट)