
रसड़ा (बलिया) | रसड़ा नगर में मां दुर्गा की प्रतिमा के विसर्जन के दौरान ईंट-पत्थर चलने के बाद बुधवार को मोहर्रम की ताजिया के जुलूस पर भी ब्रम्हस्थान में पत्थर बाजी की गई. इस पत्थरबाजी से एक युवक घायल हो गया.
नगर में एक बार फिर असमाजिक तत्वों द्वारा क्षेत्र के सामाजिक सौहार्द को बिगाड़ने का प्रयास किया गया, परन्तु लोगों के आपसी सूझ बुझ से उनके मंसूबे कामयाब नहीं हो सके. मेरुराय पूरा के लोग ताजिया जुलूस में लोग मातम करते तथा युवा करतब दिखाते कर्बला की तरफ आगे बढ़ रहे थे. ब्रम्हस्थान में जुलूस पर ईट पत्थर चल गए. संयोग ही था कोई हताहत नहीं हुआ. हां इस दौरान लोगों ने सूझ बुझ के साथ ताजिया को आगे बढ़ाया गया. इसके बाद प्रशासन द्वारा ब्रम्हस्थान पर पुलिस बल बढ़ा दी गई.
पश्चिम मुहल्ला की ताजिया को लेकर लोग मातम कतरे हुए गुजर रहे थे तो अंधेरे का लाभ उठाकर असमाजिक तत्वों ने एक बार फिर जुलूस पर ईट पत्थर फेंके. इस वारदात में पश्चिम मुहल्ला निवासी मु. वसीम (20) पुत्र सलाहुद्दीन घायल हो गया. एक बार फिर काफी मशक्कत के बाद ताजिया को आगे बढ़ाया गया. देर रात तक ताजिया को कर्बला में ठंडा किया गया.
नगर में प्रतिमा विसर्जन और ताजिया जुलूस के दौरान पहली बार ईट पत्थर फेंकेने की हरकत सामने आई है. जाहिर है कुछेक असमाजिक तत्व उकसाने वाली हरकत करने से बाज नहीं आए. अब तक इतिहास यही रहा है कि विभिन्न तबके के लोग मिलजुल कर साथ न सिर्फ रहते आए हैं, बल्कि एक दूसरे के आयोजनों में शिरकत भी करते रहे हैं. स्थानीय अमन पसंद लोग हिंदू मुस्लिम एकता की मिसालें पेश करते नहीं थकते. यहां की परम्परा भी रही है कि श्रीनाथ बाबा के रोट पूजना का पहला प्रसाद रोशन शाह को ही चढ़ाया जाता है. इसके बाद वितरित किया जाता है.