
सिकन्दरपुर (बलिया)। इमाम चौक पर दसवीं के सुबह बैठाई गई ताजियों को बुधवार को कर्बला में ठंडा करने के साथ मातमी पर्व मुहर्रम शांतिपूर्ण वातावरण में संपन्न हुआ. यह त्योहार पैगंबर हजरत मोहम्मद साहब के नवासे हजरत इमाम हुसैन की शहादत की याद में मनाया जाता है. इमाम हुसैन व उनके कुनबे (परिवार) के 72 सदस्यों को यजीदी फौज ने आज ही के दिन कर्बला के मैदान में भूखा प्यासा तड़पा कर बेरहमी से कत्ल कर दिया था, जिसके तहत लगातार 10 दिनों तक मजलिस जुलूस व जलसा के आयोजन के साथ मातम मनाया जाता है.
मोहर्रम की दसवीं तारीख को सुबह नगर के सभी इमाम चौक पर ताजिया बैठाई गई थी. बुधवार को दोपहर बाद सबसे पहले हाश्मी चौक, इन्द्रीसिया चौक, चांदनी चौक व मिल्की के ताजियों का जुलूस निकाला गया, जो परंपरागत मार्गों पर भ्रमण करके दरगाह तिराहा पहुंचे. इस दौरान मुहल्ला मिल्की की ताजिया को मैदान स्थित कर्बला ले जाकर सबसे पहले ठंडा किया गया. इस दौरान शाम को एक के बाद एक गंधी, भीखपुरा मानापुर बढ़्ढा व डोमनपुरा से जुलूस निकाला गया. सभी जुलूस डोमनपुरा से निकल हास्पिटल तिराहा पहुंचे, जहां से एक साथ प्रस्थान कर जल्पा चौक होते हुए कर्बला पहुंचे. वहां बारी बारी से सभी को ठंडा किया गया.
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त्योहार को शांतिपूर्ण वातावरण में संपन्न कराने के लिए प्रशासन द्वारा प्राप्त पुलिस व पीएसी बल की तैनाती के साथ ही एसडीएम अनिल कुमार चतुर्वेदी, सीओ श्यामदेव, थानाध्यक्ष बृजेश कुमार शुक्ला, चौकी प्रभारी सुरेश चंद्र मिश्र शुरू से अंत तक नगर में चक्रमण करते रहे. काजीपुर व नवानगर प्रतिनिधि के अनुसार क्षेत्रीय गांव में मोहर्रम का त्यौहार शांतिपूर्ण वातावरण में संपन्न हुआ.