
बैरिया:लोक नायक जयप्रकाश नरायण की 117 वीं जयन्ती सद्भाव के साथ शुक्रवार को मनाई गयी. हालांकि इस बार के जयन्ती समारोह पर बाढ़ और भयंकर बरसात का असर दिखा. इस मौके पर कोई बाहरी दिग्गज नेता नही दिखे. जिले से जनप्रतिनिधियों, सामाजिक संगठनों के कार्यकर्ता और जेपी के विचारो से प्रेरित सामाजिक चिन्तको ने माल्यार्पण कर जेपी को नमन किया.
स्कूली बच्चों ने निकाली प्रभात फेरी
जयन्ती समारोह के अवसर पर सुबह 09 बजे से ही आचार्य नरेन्द्र देव बाल विद्या मन्दिर के बच्चे प्रभात फेरी के साथ क्षेत्र में निकल चुके थे. बच्चे ‘जय प्रकाश अमर रहे’,’भारत माता की जय’ आदि गगनभेदी नारे लगाते चल रहे थे. पूरे गांव का भ्रमण कर 11 बजे जेपी स्मारक प्रतिष्ठान पर पहुंचे. इसके बाद सभी ने माल्यार्पण किया.
जेपी के परिजनों ने किया माल्यार्पण
जिले के जनप्रतिनिधियो के बीच खड़े जेपी के प्रपौत्र डा. कौशिक सिन्हा, उनके परिजन और रिश्तेदारों ने माल्यार्पण कर जेपी को नमन किया. उनमें विवेक प्रसाद, सारिका, पूजा, विवेक, आदित्य, कौशिक, श्रेया, ईशान, श्रीनिवास प्रसाद आदि शामिल थे. उसके बाद राज्यसभा सदस्य नीरज शेखर, एमएलसी रविशंकर सिंह, विधायक सुरेन्द्र नाथ सिंह, नागेन्द्र पाण्डेय, भाजपा जिलाध्यक्ष विनोद शंकर दूबे, मुक्तेस्वर सिंह, अमिताभ उपाध्याय, अरविन्द सिंह सेंगर, विनोद सिंह, शैलेश सिंह,लव कुश सिंह, निर्भय सिंह गहलौत, धनंजय सिंह, पीन्टू यादव, प्रेम सिंह, दुर्गविजय सिंह, सन्दीप सिंह, दशरथ यादव आदि ने माल्यार्पण किया.
बीएसटी बांध वाली सड़क को मरम्मत की आस
प्रत्येक वर्ष जेपी जयन्ती के पूर्व बीएसटी बांध वाली सड़क मरम्मत हो जाती थी. इस वर्ष सड़क को ठीक न करने का मलाल जेपी के गांव में दिखा. लोग चर्चा कर रहे थे कि पूर्व प्रधानमंत्री चन्द्रशेखर होते तो सब ठीक होता. महज 09 किमी लम्बी यह सड़क चौड़ीकरण और मरम्मत की आस में बुढ़ी हो चली है. उत्तर प्रदेश और बिहार में दोनों तरफ जेपी का स्मारक होने के बाद भी यह सड़क खस्ताहाल है.
This Post is Sponsored By Memsaab & Zindagi LIVE
नहीं हुई श्रद्धांजलि सभा
जेपी जयन्ती के मौके पर हर वर्ष रंग बदलता रहा है. कभी यहां सम्पूर्ण दिल्ली के दिग्गज जेपी को नमन करते थे तो कभी यह जयन्ती जनपदवासियो तक सीमित रही. वहीं, हर साल सभा के दौरान विभिन्न स्थानो से आये लोग जेपी को अपने विचारों की श्रद्धांजलि देते थे. जेपी की 117 वीं जयन्ती पर इस बार कही भी श्रद्धांजलि सभा का आयोजन नही हुआ.
जेपी: उत्तर प्रदेश और बिहार
सिताब दियारा क्षेत्र में पिछले कई सालों से जेपी जयन्ती मनाई जाने लगी है. उप्र के जिम्मे जय प्रकाश नगर है तो बिहार वाले हिस्से में लाला टोला. दोनो स्थानो में अन्तर यह है कि छपरा के डीएम और एसपी के साथ दर्जन भर उच्चाधिकारी अपनी सीमा के स्मारक पर प्रति वर्ष जेपी को नमन करने पहुंचते है जबकि बलिया के किसी अधिकारी के लिए जेपी खास नही हैं.
बलिया के वरिष्ठ अधिकारी जयप्रकाश नगर में तब पांव रखते हैं जब किसी वीआइपी का कार्यक्रम होता है. जेपी को नमन करने के लिए बलिया के अधिकारियो की कभी चाहत नहीं रही है. बिहार स्थित लाला टोला जेपी स्मारक पर जब से स्मारक बना तब से आज तक कार्यक्रम सरकारी स्तर पर घोषित है.
इस क्रम में शुक्रवार को बिहार वाले हिस्से में महाराजगंज सांसद जनार्दन सिंह सिग्रीवाल, सांसद बलिया विरेन्द्र सिंह मस्त, डीएम सारण सुब्रत सेन, एसपी सारण हरि किशोर, जेपी यूनिवर्सिटी के कुलपति हरिकेश सिंह आदि ने जेपी को नमन किया.