बलिया की इस बेटी से ‘थर्राया’ रानी का झांसी

भोजपुरी के संदर्भ में जॉर्ज ग्रियर्सन ने लिखा है कि भोजपुरी उस शक्तिशाली, स्फूर्तिपूर्ण और उत्साही जाति की भाषा है, जो परिस्थिति और समय के अनुकूल अपने को बनाने के लिए सदा प्रस्तुत रहती है, जिसका प्रभाव हिंदुस्तान के हर भाग पर पड़ा. मूलतः भोजपुरी भाषी आईएएस गरिमा सिंह के दिन की शुरुआत अच्छे थॉट्स के साथ होती है. ऑफिस में उनकी टेबल पर पॉजिटिव थॉट्स पेपर पर लिखे रखे रहते हैं.