विश्व पर्यावरण दिवस की पूर्व संध्या पर गोष्ठी, वृक्षारोपण पर दिया गया जोर

दुबहर, बलिया. सभी ग्रहों में एकमात्र पृथ्वी ही ऐसी ग्रह है, जहां सभी प्रकार के जीव अपना जीवन यापन करते हैं. पृथ्वी पर सबसे बुद्धिमान एवं समझदार जीव मनुष्य को ही माना गया है. अतः जीवनदायिनी पृथ्वी की सुंदरता को बनाए रखना प्रत्येक मनुष्यों का परम कर्तव्य है. उक्त विचार सामाजिक चिंतक बब्बन विद्यार्थी ने विश्व पर्यावरण दिवस की पूर्व संध्या पर शुक्रवार को बेयासी ढाला स्थित मंगल चबूतरा पर पत्रकारों से बातचीत के दौरान व्यक्त किया.

बब्बन विद्यार्थी ने कहा कि विभिन्न प्रकार के पर्यावरण प्रदूषण के कारण इस खूबसूरत ग्रह के प्रत्येक जीव बुरी परिस्थितियों की ओर जा रहे हैं. हमें बुरी परिस्थितियों की ओर जाने से बचने के लिए पृथ्वी को हरा-भरा, स्वच्छ और सुंदर बनाना ही होगा. इसके लिए हमें अपने घरों, मुहल्लो, शहरों एवं सार्वजनिक स्थानों आदि को साफ-सुथरा रखते हुए अभियान चलाकर  अधिक से अधिक वृक्षारोपण करने की नितांत आवश्यकता है.

वृक्षारोपण के साथ-साथ रीसाइक्लिंग वयवस्था, हरे-भरे वृक्षों की कटाई पर सख्त प्रतिबंध, पानी की बचत, बिजली का कम से कम प्रयोग, कृषि संबंधी कार्यों में जैविक खादों का प्रयोग, स्थानीय एवं जैविक खाद्य पदार्थों का अधिकाधिक उपयोग एवं जंगली जीवन की सुरक्षा आदि जैसी गतिविधियों को वृहद कार्यक्रम चलाकर लोगों को जागरुक एवं प्रोत्साहित करना पड़ेगा. तभी हम पृथ्वी को विभिन्न प्रकार के पर्यावरण प्रदूषण से बचाकर सुरक्षित रह सकते हैं.

इस अवसर पर पन्नालाल गुप्ता, गोविंद पाठक, उमाशंकर पाठक, डॉ सुरेशचन्द्र प्रसाद, श्रीभगवान साहनी, गंगासागर, संजय जायसवाल आदि मौजूद रहे.

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