रसड़ा (बलिया)| क्षेत्र के कोटवारी गांव में मंगलवार को देर रात कछुआ छाप अगरबत्ती से रिहायसी झोपडी में आग लग गयी. इस अगलगी में नगदी समेत एक बकरी और एक गाय झुलस गई. काफी मशक्कत के बाद ग्रामीणों ने आग पर काबू पाया. इसे भी पढ़ें – तिरनई-पलिया व खैरा निस्फी गांव के सोनाडीह मौजे में अग्नि की विनाश लीला
पीड़ित परिवार खुले आसमान के नीचे जीवन यापन करने को मजबूर है. मानिकचन्द राजभर कछुआ छाप मच्छर भगाने वाला अगरबत्ती जलाकर अपनी झोपडी में पूरे परिवार समेत सोया हुआ था. देखते ही देखते झोपडी आग का गोला बन गयी. आग की गर्मी से झोपडी में सोये लोगों की नीद खुली तो किसी तरह अपनी जान बचाकर वे निकले. झोपडी में रखे अनाज, एक हजार नगद, कपड़े. बर्तन आदि जल कर राख हो गए. झोपडी में बधी एक गाय और बकरी भी झुलस गयी. इसे भी पढ़ें – रामपुर असली, भरथांव व मठिया लिलकर गांवों में अग्नि का तांडव