असहयोग आंदोलन के प्रथम शहीद पंडित रामदहीन ओझा के स्मृति दिवस पर विभिन्न संगठनों ने दी श्रद्धांजलि

बाँसडीह, बलिया. स्वतंत्रता के असहयोग आंदोलन में बलिया के प्रथम शहीद पंडित रामदहीन ओझा के स्मृति दिवस पर आज बलिया और उनकी जन्मस्थली बाँसडीह में स्थापित प्रतिमाओं पर विभिन्न राजनीतिक तथा सामाजिक सगठनों के लोगों द्वारा माल्र्यापर्ण कर उनको अपनी श्रद्धांजलि अर्पित किया.

सलेमपुर लोकसभा क्षेत्र के सांसद रविंद्र कुशवाहा ने शहीद ओझा जी को एक महामानव बताते हुये कहा कि अपनी लेखनी के माध्यम से अग्रेजो के होश उड़ा देना और सबसे कम उम्र में देश के लिये बलिदान हो जाना यह अपने आप मे वर्तमान युवा पीढ़ी के लिये प्रेणादायक है.

बाँसडीह डाकबंगले स्थित शहीद ओझा जी के प्रतिमा पर माल्र्यापर्ण के उपरांत बाँसडीह डाकबंगले पर आयोजित गोष्ठी को सम्बोधित करते हुये भाजपा जिलाध्यक्ष जयप्रकाश साहू ने कहा कि सेनानियों के ऋण से कोई उऋण नहीं हो सकता है. आज खुली हवा में जो हम सांस ले रहे है, यह शहीद सेनानियों की ही देन है.

बाँसडीह शहीद ओझा जी के प्रतिमा माल्र्यापर्ण करने वालों में कौशल सिंह, चन्द्रबली वर्मा, निखलेश पांडेय, दिनेश तिवारी, सतेंद्र सिंह, प्रमोद सिंह, अभिजीत तिवारी, मूनजी गोंड, तेजबहादुर रावत, राकेश मिश्रा, आदित्य गुप्ता, अवनीश पांडेय, मृदुल ओझा, सहित आदि लोग उपस्थित रहे. अंत मे आगंतुकों के प्रति आभार शहीद रामदहीन ओझा समिति के संयोजक प्रतुल कुमार ओझा ने व्यक्त किया.
बांसडीह से रविशंकर पांडेय की रिपोर्ट

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