टिकुलियां के पास हादसे में गई अधेड़ की जान

भीमपुरा थाना क्षेत्र के टिकुलियां के पास नगरा भीमपुरा मार्ग पर बाइक की टक्कर से चन्द्रभान यादव (52) पुत्र स्व. देवराज यादव निवासी टिकुलियां की मौत हो गई.

गंदा है पर धंधा है –प्रसूता को जबरन भेजा जाता है प्राइवेट नर्सिंग होम

जिलाधिकारी व मुख्य चिकित्साधिकारी के तमाम कड़े निर्देशों के बाद भी स्वास्थ्य विभाग का गड़बड़झाला बेखौफ जारी है. आशाओं द्वारा अपने नकदी लाभ के लालच में गर्भवती महिलाओं को प्राइवेट नर्सिंग होम पर पहुंचाया जा रहा है. वहीं प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों के प्रसव केंद्रों पर आने वाली प्रसूताओं को एएनएम द्वारा प्रेरित करके प्राइवेट नर्सिंग होम धड़ल्ले से भेजा जा रहा है.

पीएचसी कोटवा – कहां गए सवा चौदह लाख, जमीन खा गई या आकाश निगल गया

पीएचसी कोटवा के सवा चौदह लाख रुपये जमीन खा गई या आकाश निकल गया, यह यक्ष प्रश्न बना हुआ है. अपने भुगतान की उम्मीद लगाए मरीज और आशाएं आज भी अस्पताल के गणेश परिक्रमा कर रही हैं. उन्हें यही जवाब दिया जाता है कि पैसा नहीं आया है. आएगा तो भुगतान कर दिया जाएगा.

पीएचसी पर लाश लेकर पहुंचीं दर्जन भर महिलाएं-पुरुष

पीएचसी मुरलीछपरा पर सोमवार को लाश लेकर दर्जनों की संख्या में पुरुष व महिलाएं पहुंची. ये लोग पीएचसी में ड्यूटी पर तैनात एएनएम पर लापरवाही का आरोप लगाकर चिकित्सा प्रभारी मुरली छपरा के विरुद्ध नारेबाजी करने लगे और धरने पर बैठ गए. डिप्टी सीएमओ एनके सिंह भी मौके पर पहुंच गए.

वयना में आशा एवं आशा संगिनियों की मासिक बैठक

प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र वयना पर आशा एवं आशा संगिनियों की मासिक बैठक को सम्बोधित करते हुए प्रभारी/ अतिरिक्त मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. राजनाथ ने सबकी समस्याओं को सुना तथा तत्काल निवारण का आश्वासन दिया.

पीएचसी कोटवा, मुरलीछपरा और सीएचसी सोनबरसा का औचक निरीक्षण

सीएमओ डॉ. पीके सिह व डिप्टी सीएमओ केडी प्रसाद ने गुरुवार को पीएचसी कोटवा का औचक निरीक्षण किया. यद्यपि यहां 11 बजे से ही सीएमओ के आने की सूचना थी. यहां तीन लोग अनुपस्थित पाए गए, जिन्हे अनुपस्थित लगा कर कारण बताओ नोटिस जारी किया गया.

पीएचसी कोटवा वेंटीलेटर पर, कर्मचारी आवास आईसीयू में

जन प्रतिनिधियों व उच्चाधिकारियों की उदासीनता के चलते प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र कोटवा के अस्तित्व पर सवालिया निशान खड़े हो गए हैं. यह कितने ही हैरत की बात है कि जब चारों तरफ विकास की होड़ लगी हुई है, वही बैरिया ब्लाक के लिए स्थापित इकलौते प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र को लेकर लोग कहते हैं कि यह अस्पताल डेढ़ दशक पहले जैसा होना चाहिए. इसके प्रति न तो जनप्रतिनिधियों मे कोई गंभीरता है, और न ही विभागीय उच्चाधिकारियों में.

चिकित्सा क्षेत्र में तनिक भी लापरवाही क्षम्य नहीं – डॉ. पीके सिंह

हम सब एक ऐसे विभाग से जुड़े हैं, जिसका ताल्लुक सीधे जीने मरने से है. हमारी थोड़ी सी लापरवाही मरीज की जान ले सकती है और हमारी कर्तव्य परायणता एवं जागरूकता जीवन बचा सकता है. उक्त बातें प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र वयना का औचक निरीक्षण करने के बाद मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. पीके सिंह ने मंगलवार को स्वास्थ्य केन्द्र के मातहतों को हिदायत देते हुए कही.

भूमि विवाद में पत्रकार व परिजनों पर जानलेवा हमला

भीमपुरा थाना क्षेत्र के कान्धरापुर गांव में शुक्रवार को भूमि विवाद में हुए जानलेवा हमले में एक पत्रकार सहित चार लोग घायल हो गए. परिजन एवं आस पास के लोग सभी घायलों को पीएचसी नगरा पहुंचाए. वहां गम्भीर रूप से घायल पत्रकार एवं उनके पिता को चिकित्सकों ने सदर अस्पताल के लिए रेफर कर दिया. घटना के चलते गांव में तनाव की स्थिति है.

नंदगंज बाजार में भूमि पूजन व शिलान्यास

जनपद के नन्‍दगंज बाजार स्थित प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में 50 लाख की लागत से निर्माण होने वाले सुलभ शौचालय का भूमि पूजन एवं शिलान्यास सोमवार को सम्पन्न किया गया.

विभाग की मनमानी और भ्रष्टाचार की खोल रहे पोल

प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र वयना, बलिया के फार्मासिस्ट विशम्भर नाथ ओझा ने आखिरकार अपने बकाया न मिलने के कारण परेशान होकर पीएचसी के द्वार तथा प्रांगण मे खुला पोस्टर लगा कर आगन्तुकों के सामने विभाग की मनमानी और भ्रष्टाचार की पोल खोल रहे है.

गड़वार स्वास्थ्य कैंप में उमड़ी हजारों की भीड़

श्यामा आई केयर शिवपुर, वाराणसी एवं रोटरी क्लब वाराणसी (नॉर्थ) के संयुक्त तत्वावधान में फेफना विधायक उपेन्द्र तिवारी के सौजन्य से गड़वार ब्लाक कैम्पस में आयोजित निःशुल्क स्वास्थ्य शिविर में रविवार सुबह से ही हजारों की संख्या मे भीड़ जुटनी शुरू हो गई. वाराणसी के जाने माने अस्पतालों एंव बीएचयू के चिकित्सकों के आने की सूचना पाकर आयोजकों के अनुमान से काफी अधिक भीड़ एकत्रिक हो गई.

नवानगर ब्लाक के स्वास्थ्य केंद्र वेंटिलेटर पर

गांव में ही लोगों को जीवन रक्षक स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने के उद्देश्य से सरकार ने लगभग हर ब्लॉक में स्वास्थ्य सेंटरों का जाल सा बना रखा है. बावजूद इसके उच्च अधिकारियों की उदासीनता व अकर्मण्यता से अधिकांश स्वास्थ्य सेंटर बेमतलब साबित हो रहे हैं. गांव में स्वास्थ्य सेवाएं वेंटीलेटर पर चल रहे हैं. यह केंद्र चाहरदीवारी से अस्पताल होने का भ्रम तो बताते हैं किंतु स्वास्थ्य सुविधा के नाम पर यहां कॉटन, दवा और इंजेक्शन मिलना तो दूर वहां के स्वीपर तक के दर्शन नहीं होते. जिस कारण अधिकांश स्वास्थ्य केंद्र अस्पताल के बजाय भूत बंगला के समान हो गए हैं.