सिकंदरपुर(बलिया)। ध्वस्त नाकों के निर्माण के बाद क्षेत्र के खरीद एवं दरौली घाटों के मध्य घाघरा नदी पर निर्मित पीपा पुल पर से एक सप्ताह से ठप आवागमन शनिवार की शाम से पुनः बहाल हो गया है. इससे पुल के माध्यम से नदी पार करने वाले इलाक़ाई लोगों को राहत मिलो है. अब बिना रोक टोक के पैदल व दोपहिया सहित चार पहिया वाहन भी पुल के माध्यम से नदी पार कर उत्तर प्रदेश और बिहार में आसानी से आवागमन करने लगे हैं. पुल के चालू हो जाने के बाद घाट पर संचालित स्टीमर सेवा को स्थगित कर दिया गया है.
उधर बिहार के गिरनारी घाट के सामने पक्का पुल के निर्माण स्थल तक आवागमन के रास्ते के नीची जमीन में बाढ़ के भरे पानी के ऊपर पीपे जोड़ कर पुल के निर्माण का काम तेजी से जारी है. जिसके एक दो दिन में तैयार हो जाने की उम्मीद है. यहां घाट के नीचे के गहरे भाग में बाढ़ का ज्यादा भाग पानी भर जाने के कारण सेतु निगम द्वारा नदी के रेत पर निर्माणाधीन पक्का पुल तक आवागमन बन्द हो जाने के कारण निर्माण कार्य ठप पड़ गया है.
बता दें कि एक सप्ताह पूर्व नदी के जलस्तर में अचानक तेज बृद्धि और कटान के चलते पीपा पुल के दो नाके ध्वस्त हो गए थे. जिससे पुल पर आवागमन ठप पड़ गया था. चूंकि पानी का बढ़ाव लगातार जारी था और कटान भी तेज था. इसलिए पुल के ठेकेदार द्वारा नाकों का निर्माण नहीं कराया जा सका था. तभी से यूपी और बिहार को आवागमन करने वाले लोग स्टीमर द्वारा नदी पार करने को बिवश थे. इस दौरान चार पहिया वाहनों का आवागमन पुल के अभाव में ठप रहा. शनिवार को पर्याप्त पानी कम हो जाने और कटान थम जाने के बाद ठेकेदार द्वारा नाकों के निर्माण का कार्य शुरू कराया गया. जो दूसरे दिन बन कर तैयार हो गए.
बिहार के गिरनारी घाट के सामने भी नदी किनारे के गहरे गड्ढों में काफी मात्रा में पानी भर जाने से उसके सामने बालू के रेत पर पक्का पुल के निर्माणाधीन पायों के निर्माण का कार्य भी ठप पड़ गया था. कारण कि अत्यधिक पानी के चलते निर्माण कार्य में लगे न तो मजदूर व मिस्त्री न ही आवश्यक सामग्रियां मौके पर पहुंच पा रहे हैं. पक्का पुल की कार्यदायी संस्था सेतु निगम द्वारा इस स्थिति से निपटने हेतु गड्ढे में भरे पानी के ऊपर आधा दर्जन पीपों को जोड़ कर पुल बनाया जा रहा है. जिससे कि पक्का पुल के पायों का ठप निर्माण कार्य पुनः शुरू हो सके.