


मझौवां(बलिया)। सांसद आदर्श ग्राम केहरपुर के पुरवा श्रीनगर और माफी केहरपुर के कटान पीड़ितों का दूसरे दिन क्रमिक धरना प्रदर्शन आज बेमियाद अनशन में तब्दील हो गया. कटान पीड़ितों ने कहा कि जब तक हमारी मांगे पूरी नहीं हो जाती तब तक अनशन जारी रहेगा. अनशन पर बैठने वालों में पूर्व प्रधान नागेन्द्र सिंह, त्रिलोकी सिंह, सुदर्शन सिंह और शिवमंगल सिंह डटे हुए हैं. बताते चले कि सन् 2016 में आयी भीषण बाढ़ में कटान पीड़ितों के मकान गंगा की गोंद में समा गया. तब से लेकर आज तक कटान पीडितों ने डीएम से लगायत सीएम, एसडीएम के दरवाजे खटखटाये. लेकिन जिम्मेदार अधिकारियों के कानों तक जूं नही रेंगा.
मंगलवार को कटान पीड़ितों को मनाने धरना स्थल पर पहुंचे बैरिया तहसीलदार शशिकांत मणि ने कटान पीड़ितों को समझने बुझाने का प्रयास किये, लेकिन वार्ता विफल रही. कटान पीड़ित मौके पर डीएम को बुलाने की जिद पर अड़े हुए हैं. कटान पीड़ितों ने अधिकारियों पर वादाखिलाफी आरोप लगाया. कहा कि तहसीलदार कह रहे है कि गृह अनुदान का धन केंद्र सरकार से मिलता है, राज्य सरकार नहीं. अनशनकारियों का कहना था कि वर्ष 2016 में तहसील प्रशासन ने 117 लोगों की सूची बनाकर क्षेत्रीय लेखपाल ने तहसील प्रशासन को सौप था. जिस पर तहसील प्रशासन ने एक करोड़ 93 लाख रुपये का प्रस्ताव बनाकर जिला आपदा अधिकारी बलिया को भेज था. उसके बाद से अब तक क्या हुआ इसका जवाब कोई स्प्ष्ट रूप कोई नही दे रहा है.
