दैहिक-दैविक-भौतिक सब ताप हरती हैं मां कष्टहरणी

This item is sponsored by Maa Gayatri Enterprises, Bairia : 99350 81969, 9918514777

यहां विज्ञापन देने के लिए फॉर्म भर कर SUBMIT करें. हम आप से संपर्क कर लेंगे.

गाजीपुर से विकास राय

vikash_raiगाजीपुर जनपद में मुहम्मदाबाद-चितबड़ागांव मार्ग पर करीमुद्दीनपुर थाने के समीप मां कष्टहरणी देवी का धाम आस्था, श्रद्धा व विश्वास से सराबोर अपनी पहचान बनाये हुए है. सदैव अपनें भक्तों के कष्टों को हरने वाली देवी मां का नाम ही है मां कष्टहरणी. जिन्हें दया की सागर, ममतामयी,  करूणामयी आदि रूपों की देवी भी कहा जाता है.

इसे भी पढ़ें – रसड़ा में मकई से बनी है मां दुर्गा की मूरत

इक्यावन शक्ति पीठों मे से एक प्रमुख पीठ मां दुर्गा का एक दिव्य स्वरूप है मां कष्टहरणी, जो पल भर में अपने भक्तों के दैहिक, दैविक एवं भौतिक सारे ताप व संताप हर लेती हैं. अपने दरबार में पंहुचे भक्तों की सारी मनोकामनाएं एवं मुरादें पूर्ण ही नहीं करती, बल्कि भक्तों के सभी रोग, शोक, दु:ख का शमन करके धन, धान्य एवं आरोग्यता प्रदान करती हैं.

इसे भी पढ़ें – सोनाडीह की भगवती ने किया था महाहनु का वध

मां कष्टहरणी का पवित्र धाम युगो-युगो से करीमुद्दीनपुर में विराजमान है. इतिहास में जाने पर इस स्थान को युगो पूर्व दारूक वन के नाम से जाना जाता था. जिस वन में शेर, बाघ जैसे हिंसक जीव विचरण किया करते थे. मां के स्थान के बगल में बघउत बरम बाबा का स्थान है. जनश्रृतियों के अनुसार बाघ से लड़ाई के दौरान उनकी मौत हो गई थी, तभी से आप बघउत बरम बाबा के नाम से यहां पर विराजमान हैं.

mahardham

इसे भी पढ़ें – अयोध्या से बक्सर जाते वक्त राम ने किया कष्टहरणी का दर्शन 

(और जानिए क्या है कष्टहरणी धाम का महाहर डीह और श्रवण डीह से कनेक्शन)